फर्जी दस्तावेज के आधार पर बनाया गया लाइसेंस, वाहन चालकों तक नहीं पहुंच रहा ई- चालान

रायपुर : राजधानी में ट्रैफिक व्यवस्था सुधारने के लिए ऑनलाइन चालानी कार्रवाई की व्यवस्था बनाई गई थी, लेकिन लोगों के फर्जी पते से अब पुलिस को परेशान होना पड़ रहा है। रायपुर जिले में ही तकरीबन 5 हजार चालान घर ना पहुंचकर वापस आ गए हैं। वही यातायात पुलिस ई- चालान पहुँचाने वाहन चालकों के घर के नए पते का खाक छानते फिर रही है।
रायपुर जिले में ऑनलाइन सिस्टम के तहत लापरवाही बरतने वाले वाहन चालकों पर जुर्माना वसूली की कार्रवाई की जा रही है। पुलिस विभाग द्वारा इंटेलिजेंस ट्रैफिक मैनेजमेंट सिस्टम से चालकों पर जुर्माना कार्रवाई का सिस्टम बनाया गया है, इसी के तहत सभी ट्रैफिक जोनों में वाहन चालकों को चालान भेजा जा रहा है। जिले में पिछले एक साल में जितने वहां चालकों को जुर्माना वसूली के लिए चालान भेजे गए हैं, उनमे से तकरीबन 5 हजार चालान वापस आ गए हैं। वही पुलिस ने अब नए सिरे से चालानी कार्रवाई के लिए वाहन चालकों की पतासाजी तेज करने की बात कह रही है। यातायात डीएसपी गुरजीत सिंह का कहना है कि अब लोकल थाने की पुलिस कि मदद लेकर वाहन चालकों के बारे में जानकारी लेकर कार्रवाई की जाएगी। साथ ही उनके मूलनिवास की जानकारी लेकर दोबारा से सख्ती बरती जाएगी।
राजधानी रायपुर की यातायात पुलिस, जिले में यातायात दुरुस्त होने और दुर्घटना रोकने के नाम पर चालानी कार्रवाई कर विभाग का तिजोरी भर रही है, वही दूसरी तरफ लापरवाही बरतने वाले वाहन चालकों के पते पर भेजा गया ई- चालान वापस आ रहा है। इससे ही वाहन चालाक का लाइसेंस बनाने वाली आरटीओ और चालानी कार्रवाई करने वाली यातायात पुलिस के कार्यशैली का अंदाजा लगाया जा सकता है, की लाइसेंस बनाते समय किस तरह से फर्जी आईडी प्रूफ और एड्र्रेस फ्रूफ का इस्तेमाल धड़ल्ले से हो रहा है।

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